आई फ्लू से प्रभावित कई राज्य !
कंजक्टिवाइटिस जिसे आमतौर पर आईफ्लू के नाम से जाना जाता है।अकेले महाराष्ट्र में कंजक्टिवाइटिस के 39,000 मामले सामने आए हैं।
बारिश के मौसम में इन दिनों आई फ्लू का ख़तरा देश में काफी से बड़ रहा है अधिकतर राज्यों में आई फ्लू के मरीज नजर आना शुरू हो चुके है अचानक से आई फ्लू का खतरा बढ़ना लोगो के लिए डर का संकेत है आई फ़्लुए के नाम से ही समझ में आता हगाई की ये में होने आंखो वाला इन्फेक्शन है इसे कंजंक्टिवाइटिस, पिंक आई, रेड आई भी कहते हैं। आंखों में यह इन्फेक्शन, कंजंक्टिवा की सूजन का कारण बनता है। कंजंक्टिवा क्लियर लेयर होती है, जो आंख के सफेद भाग और पलकों की आंतरिक परत को कवर करती है। इसमें आंखों के सफेद हिस्से में इन्फेक्शन फैल जाता है। कंजक्टिवाइटिस जिसे आमतौर पर आईफ्लू के नाम से जाना जाता है।अकेले महाराष्ट्र में कंजक्टिवाइटिस के 39,000 मामले सामने आए हैं।
आई फ्लू है ख़तरनाक
स्वास्थ्य विशेषज्ञों की मानें तो हाल ही में हुई बारिश के कारण जलभराव हुआ, और रुके हुए पानी में जलजनित बैक्टिरिया और वायरस जो आंखों के संक्रमण की वजह बनते हैं, वो ज्यादा पैदा हो रहे हैं। कंजक्टिवाइटिस के कुछ आम लक्षणों में दोनों या एक आंख का लाल होना या उनमें खुजली होना और आंखों से बहुत ज्यादा पानी बहना शामिल है।
क्या है आई फ्लू के लक्षण
इस सप्ताह की शुरुआत में, एमसीडी शिक्षकों ने मेयर शैली ओबेरॉय को पत्र लिखकर बच्चों में संक्रामक बीमारी के प्रसार को नियंत्रित करने के लिए त्वरित कार्रवाई करते हुए 31 जुलाई तक स्कूलों को बंद करने का अनुरोध किया था। डॉक्टरों के मुताबिक, चश्मा पहनने से जलन को रोकने में मदद मिलती है और आंसू और आंखों में होने वाली चुभन थोड़ी कम हो जाती है, लेकिन इसके पहनने से अगर यह सोचते हैं कि संक्रमण का प्रसार रुक जाएगा तो यह सोच गलत है।
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