सुप्रीम कोर्ट ने रेल यात्रियों के लिए बनाये निर्देश !
ये निर्देश दे दिया है की अब यात्रियों को खुद अपने सामान को मेहफूज रखाना है। अगर आप ट्रेन में यात्रा कर रहे हैं तो अपने सामान का ध्यान खुद ही रखना पड़ेगा, क्योंकि अगर सामान चोरी होता है तो इसके लिए जिम्मेदार आप खुद ही होंगे।
ट्रैन में सफर करना किसको नहीं पसंद लेकिन ट्रैन में यात्री अपना सामान अगर सहूलियत से रखे तब तो सही है लेकिन कुछ लोगो के सामान चोरी हो जाते है ट्रैन में जिसकी वजह से रेल प्रभारियों के ऊपर इलज़ाम मड दिया जाता है इसीलिए हाई कोर्ट ने एक सूचना जारी करते हुए ये निर्देश दे दिया है की अब यात्रियों को खुद अपने सामान को मेहफूज रखाना है। अगर आप ट्रेन में यात्रा कर रहे हैं तो अपने सामान का ध्यान खुद ही रखना पड़ेगा, क्योंकि अगर सामान चोरी होता है तो इसके लिए जिम्मेदार आप खुद ही होंगे।
ट्रैन यात्रियों के लिए दिशानिर्देश
जी हां! सुप्रीम कोर्ट को राहत देते हुए बड़ा फैसला सुनाया है, जिसके तहत अगर आपका कोई सामान या पैसे चोरी होते हैं तो आप इसके लिए रेलवे को जिम्मेदार नहीं ठहरा सकते बल्कि आपको खुद ही अपने पैसे और सामान का ध्यान रखना होगा । सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार (16 जून) को फैसला सुनाते हुए कहा, ”अगर ट्रेन की यात्रा करते समय यात्री के पैसे चोरी हो जाते है तो इसे रेलवे की सेवाओं में कमी के तौर पर नहीं माना जा सकता है।
सुप्रीम कोर्ट ने की सुनवाई
इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने जिला, राज्य और राष्ट्रीय उपभोक्ता फोरम के उस फैसले को रद्द कर दिया, जिसमें रेलवे को एक लाख रुपये का भुगतान करने के लिए कहा गया था। जस्टिस विक्रम नाथ और जस्टिस अहसानुद्दीन अमानुल्लाह की बेंच के मुताबिक, अगर ट्रेन में कोई सामान चोरी हो रहा है तो यह किसी भी तरह से रेलवे की सेवाओं में कमी नहीं मानी जा सकती है । उन्होंने आगे कहा कि हम यह समझ नहीं पा रहे हैं कि जब यात्री अपनी चीजों की हिफाजत नहीं कर पा रहे हैं तो चोरी होने पर रेलवे की तरफ से सेवाओं में कमी कैसे कही जा सकती है।
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