पूर्व प्रधानमंत्री, एनएसए समेत 100 लोगों ने सांप्रदायिक हिंसा रोकने के लिए लिखा PM मोदी को पत्र

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार, पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह समेत 100 लोगो ने पीएम मोदी से नफरत की राजनीति को खत्म करने का अनुरोध करते हुए लिखा पत्र।

इन दिनों देश के कई हिस्से से सांप्रदायिक हिस्सा की घटना सुनने में आ रहे थी। ऐसे में हर कोई दिक्कत में हैं, क्या आम हो क्या खास हो सभी को चिंता हैं ऐसे में विभिन्न जगहों में हुए सांप्रदायिक हिंसा के मामलों पर 100 से अधिक पूर्व नौकरशाहों ने प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा है और इन हिस्सा को समाप्त करने का अनुरोध किया है। पत्र पर हस्ताक्षर करने वालों में पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) शिवशंकर मेनन, पूर्व विदेश सचिव सुजाता सिंह, पूर्व गृह सचिव जीके पिल्लई, दिल्ली के पूर्व उपराज्यपाल नजीब जंग और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के प्रधान सचिव टीकेए नायर शामिल हैं।

नफरत की राजनीति खत्म करने का अनुरोध:
पीएम मोदी को लिखे एक पत्र में लिखा गया हैं की, “मान लीजिए कि हम जिस खतरे का सामना कर रहे हैं वह अभूतपूर्व है और दांव पर सिर्फ संवैधानिक नैतिकता और आचरण नहीं है, यह अद्वितीय समकालीन सामाजिक ताना-बाना है, जो हमारी सबसे बड़ी सभ्यतागत विरासत और जिसकी रक्षा के लिए हमारा संविधान इतनी सावधानी से तैयार किया गया है।

सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास:
उन्होंने कहा, “सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास के आपके वादे को दिल से लेते हुए, हम आपकी अंतरात्मा से अपील करते हैं। यह हमारी हार्दिक आशा है कि ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ के इस वर्ष में हम पक्षपातपूर्ण विचारों से ऊपर उठेंगे। आप नफरत की राजनीति को खत्म करने का आह्वान करें कि आपकी पार्टी के नियंत्रण वाली सरकारें इतनी मेहनत कर रही हैं।”

मुसलमानों को झेलना पड़ता हैं ‘घृणा और द्वेष’ :
पिछले कुछ वर्षों और महीनों में, असम, दिल्ली, गुजरात, हरियाणा, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड जैसे कई राज्य अल्पसंख्यक समुदायों से प्रभावित हुए हैं, विशेष रूप से मुस्लिम।

 

 

 

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