शेख हसीना ने बांग्लादेश के PM पद से दिया इस्तीफा, हिंसा के बीच छोड़ा अपना वतन

बांग्लादेश में बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारी प्रधानमंत्री आवास में घुस गए हैं. शेख हसीना के बेटे ने देश के सुरक्षा बलों से संभावित तख्तापलट की कोशिशों को सफल नहीं होने देने की गुजारिश की है।

बांग्लादेश इस समय सियासी उथल-पुथल और अराजकता के दौर से गुजर रहा है। 5 अगस्त को प्रधानमंत्री शेख हसीना के अचानक इस्तीफे ने देश को एक गहरे संकट में धकेल दिया है। राजधानी ढाका की सड़कों पर लाखों लोग उतर आए हैं, और हर तरफ हिंसा और तोड़फोड़ का माहौल है। इस गंभीर स्थिति के बीच सेना ने मोर्चा संभाल लिया है, और अब जनरल वकार-उज-जमान देश की बागडोर अपने हाथों में लेने की तैयारी में हैं।

सेना प्रमुख जनरल वकार-उज-जमान ने इस सियासी भूचाल के बीच प्रेस कॉन्फ्रेंस कर स्थिति को संभालने का भरोसा दिलाया है। उन्होंने कहा कि जल्द ही एक 18 सदस्यीय अंतरिम सरकार का गठन किया जाएगा, जो देश का संचालन करेगी। लेकिन ढाका की सड़कों पर हालात काबू से बाहर हो चुके हैं। शेख हसीना के आधिकारिक आवास छोड़ने के बाद खबरें आई हैं कि वह अपनी बहन के साथ एक मिलिट्री हेलिकॉप्टर के जरिए भारत पहुंच गई हैं। हालांकि, इस खबर की अभी तक कोई पुख्ता पुष्टि नहीं हो पाई है।

सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो में देखा जा सकता है कि प्रधानमंत्री के घर के भीतर प्रदर्शनकारी घुस चुके हैं। कुछ प्रदर्शनकारी वहां गद्दों पर लेटे हुए हैं, कुछ पूल में नहा रहे हैं, जबकि कुछ लोग घर के सामान को नष्ट करते और खाने-पीने की चीजें खाते हुए नजर आ रहे हैं। कई प्रदर्शनकारी पीएम आवास से सामान लेकर भागते भी दिखे हैं। इसी बीच, अवामी लीग के कार्यालय को आग के हवाले कर दिया गया है। पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच हो रही झड़पों में कई लोग अपनी जान गंवा चुके हैं।

देशभर में लगा कर्फ्यू

सरकार ने स्थिति को नियंत्रित करने के लिए देशभर में कर्फ्यू लगा दिया है। हजारों फैक्ट्रियां बंद हो गई हैं, और सुप्रीम कोर्ट ने भी केवल जरूरी मामलों की सुनवाई का आदेश दिया है। इंटरनेट सेवा भी अस्थायी रूप से बंद कर दी गई थी, जिससे लोगों की परेशानी और बढ़ गई है। इस पूरे संकट की जड़ पिछले महीने शुरू हुए विरोध प्रदर्शन में है, जब आंदोलन के 6 प्रमुख नेताओं को डिटेक्टिव ब्रांच ने हिरासत में लिया था। इस गिरफ्तारी ने प्रदर्शनकारियों के गुस्से को और भड़का दिया, और वे सरकार के वार्ता प्रस्ताव को ठुकराते हुए सड़कों पर उतर आए।

बांग्लादेश में फिर भड़की हिंसा, देशभर में अनिश्चितकालीन कर्फ्यू लागू, 72 से  ज्यादा लोगों की मौत – Revoi.in

छात्रनेता नाहिद ने शुरू की थी नींव

ढाका यूनिवर्सिटी के छात्र नाहिद इस्लाम, जो इस आंदोलन का प्रमुख चेहरा बन चुके हैं, ने प्रदर्शनकारियों से अपील की है कि शेख हसीना के इस्तीफे तक वे आंदोलन जारी रखें। नाहिद के लापता होने और फिर अचानक वापसी ने इस आंदोलन को और भी भड़का दिया है। अब सवाल यह है कि क्या सेना इस संकट को सुलझा पाएगी या बांग्लादेश और भी गहरे राजनीतिक संकट में डूब जाएगा। देश के हालात अनिश्चितता के अंधकार में घिर गए हैं, और इस संकट का हल अभी नजर नहीं आ रहा। बांग्लादेश का भविष्य किस दिशा में जाएगा, यह देखना बाकी है।

बांग्लादेश में प्रधानमंत्री हसीना के इस्तीफे की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन  फिर शुरू - News18

भारत पहुंची शेख हसीना

बांग्लादेश में स्टूडेंट्स आज यानी 5 अगस्त को देशव्यापी कर्फ्यू लगाया गया था. फिर भी प्रदर्शनकारी पीएम शेख हसीना के इस्तीफे की मांग को लेकर राजधानी ढाका तक एक लंबे मोर्चा के लिए इकट्ठा हो गए और प्रधानमंत्री कार्यालय में घुस गए. जिसके बाद अफरा-तफरी का माहौल हो गया और शेख हसीना को इस्तीफा देना पड़ा है. इसके साथ ही शेख हसानी को बांग्लादेश छोड़ना भी पड़ा है. शेख हसीना देश छोड़कर भारत पहुंच गई है।

हैशटैग भारत की हिन्दी वेबसाईट के लिए आप यहां hashtagbharatnews.com क्लिक कर सकते हैं। आप हमें फ़ेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम और यूट्यूब पर फ़ॉलो भी कर सकते हैं।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button