अब कुतुब मीनार परिसर में होगा हनुमान चालीसा का पाठ !

संगठन ने आरोप लगते हुए कहा की, यह स्पष्ट है कि कुतुब मीनार के अंदर की मस्जिद 27 हिंदू और जैन मंदिरों को नष्ट करके बनाई गई थी।

महाराष्ट्र में चल रहे लाऊडस्पीकर का विवाद बढ़ते बढ़ते अब उत्तर प्रदेश की राजनीति तक पहुंच गया हैं। एक तरफ बीजेपी के नेता बृजभूषण शरण भी अपने बयानों से इस मुद्दे में सामने आये। वही अब इन सब विवाद के बीच, यूनाइटेड हिंदू फ्रंट (यूएचएफ) नाम के एक अंतरराष्ट्रीय हिंदू संगठन ने मंगलवार को अन्य हिंदू समूहों के साथ कुतुब मीनार के परिसर में हनुमान चालीसा का पाठ करने की घोषणा की है। हिंदू संगठन की घोषणा के मद्देनजर ऐतिहासिक स्मारक के बाहर दिल्ली पुलिस और सीएपीएफ के जवानों की भारी सुरक्षा व्यवस्था की गई है।

हिंदू मूर्तियों की स्थापना पर असंतोष :
विशेष रूप से, कई हिंदू संगठनों ने कुतुब मीनार परिसर में कुव्वत-उल-इस्लाम मस्जिद की संरचना में भगवान गणेश की दो उलटी मूर्तियों पर असंतोष व्यक्त किया क्योंकि उनके प्लेसमेंट ने कथित तौर पर धार्मिक भावनाओं को आहत किया था। समूहों ने संरचना से मूर्तियों को हटाने की मांग की और उनकी स्थापना की वकालत की गई जहां उनकी पूजा की जा सके।

कार्यकारी अध्यक्ष ने कहा :
यूएचएफ के कार्यकारी अध्यक्ष, जय भगवान गोयल ने कहा कि, वह कुतुब मीनार के अंदर की मस्जिद को मंदिर घोषित करने और परिसर में हनुमान चालीसा का जाप करने की अनुमति देने की अपनी योजना के साथ शांतिपूर्वक आगे बढ़ने का इरादा रखते हैं। गोयल ने यह भी नोट किया कि उन्होंने केवल संरचना में हिंदू भगवान की मूर्तियों की पूजा करने या उन्हें हटाने और बाद में उस स्थान पर स्थापना की अनुमति देने की मांग की जहां उनकी पूजा की जा सकती है।

इतिहास को गलत लिखा :
गोयल ने आगे आरोप लगाया कि यह स्पष्ट है कि कुतुब मीनार के अंदर की मस्जिद 27 हिंदू और जैन मंदिरों को नष्ट करके बनाई गई थी। वैज्ञानिक प्रमाणों के अस्तित्व का हवाला देते हुए कि कुतुब मीनार वास्तव में विष्णु स्तंभ है।

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