Bihar: कार्तिक सिंह की अग्रिम जमानत याचिका हुई खारिज, सुनवाई में खुद नहीं पहुंचे कोर्ट !
बिहार के मंत्री कार्तिक सिंह की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। वारंट को लेकर विवाद और अपहरण के मामले में RJD MLC कार्तिक सिंह पर दर्ज मामले में गुरुवार को दानापुर कोर्ट में सुनवाई हुई।
बिहार के मंत्री कार्तिक सिंह की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। वारंट को लेकर विवाद और अपहरण के मामले में RJD MLC कार्तिक सिंह पर दर्ज मामले में गुरुवार को दानापुर कोर्ट में सुनवाई हुई। कार्तिक सिंह खुद कोर्ट नहीं पहुंचे। उनके वकील जनार्दन राय ने उनका पक्ष रखा था। फैसला 4 बजे तक के लिए सुरक्षित रख लिया गया था। शाम करीब पांच बजे फैसला सुनाते हुए अग्रिम जमानत याचिका को कोर्ट ने खारिज कर दिया है।
हाई कोर्ट जा सकते हैं कार्तिक !
फैसले से पहले कार्तिक सिंह के वकील जनार्दन राय ने मीडिया से कहा था कि हम लोग चाहते हैं कार्तिक सिंह को न्याय मिले। अगर अग्रिम जमानत याचिका खारिज हुई तो वह हाई कोर्ट जाएंगे। बताया जाता है कि दानापुर कोर्ट में ADG-3 के समक्ष उनके वकील ने करीब एक घंटे तक बहस की। इस दौरान कार्तिक सिंह के वकील ने अपना पक्ष रखा। लेकिन उन्हें कोर्ट से राहत नहीं मिली।
यह है पूरा मामला !
यह मामला 2014 का है। बिहटा में राजीव रंजन उर्फ राजू सिंह का अपहरण हुआ था। इस मामले में बिहटा थाने में FIR दर्ज की गई थी। इस केस में कार्तिक सिंह पर वारंट भी जारी किया गया था। उन्हें 16 अगस्त को कोर्ट में सरेंडर करना था लेकिन वह 16 अगस्त को मंत्री पद की शपथ ले रहे थे। उन्हें महागठबंधन सरकार में कानून मंत्री भी बनाया गया था।
बढ़ते विवाद के चलते बदला गया था विभाग !
अब सवाल यह है कि कार्तिक सिंह के पास कौन सा रास्ता बचा है? उन्हें पहले कानून मंत्री बनाया गया। इसके बाद विवाद को बढ़ता देख बीते बुधवार को उनका विभाग बदल दिया गया। उन्हें बुधवार को गन्ना उद्योग विभाग की जिम्मेदारी सौंपी गई। विभाग बदलते ही उन्होंने इस्तीफा दे दिया। अब कार्तिक सिंह गिरफ्तारी या सरेंडर कर जमानत लेने का प्रयास कर सकते हैं।
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