# हादसे को दावत : टूटा पीपे वाला पुल, सरकार की नज़र से दूर !
हजारों लोगों का सहारा अब एक टूटी हुई नाव बनी हुई है, पुल टूटने से सबसे अधिक मुसीबत बीमारों व छात्रों को हो रही है।
लख़नऊ : राजधानी में टूटा पुल हजारों लोगों के लिए परेशानी का सबब बना हुआ है। गऊ घाट स्थित पीपे वाला पुल एक बार फिर टूट गया है।
सहारा अब एक टूटी हुई नाव बनी
गऊघाट के दूसरे छोर पर बसे दाऊद नगर के लोग इससे परेशान है। हजारों लोगों का सहारा अब एक टूटी हुई नाव बनी हुई है। पुल टूटने से सबसे अधिक मुसीबत बीमारों व छात्रों को हो रही है। पुल टूटने के बाद टूटी हुई नाव के सहारे बच्चे स्कूल जाने पर मजबूर है।
क्षेत्रीय वासी कई बार समस्या से अवगत करा चुके
50 वर्ष पुराना पीपे वाले पुल पर सरकार की नज़र नहीं जा रही है। क्षेत्रीय विधायक नीरज बोरा और विभाग के जिम्मेदारों को क्षेत्रीय वासी कई बार समस्या से अवगत करा चुके हैं। लखनऊ के सांसद राजनाथ सिंह और क्षेत्रीय विधायक नीरज बोरा पर स्थानीय लोगों ने अनदेखी का आरोप लगाया है।
हकीकत के धरातल में उतारने में काफी समय लगता है
ऐसे में राजधानी में इस जगह बसे लोगों का चुनाव के समय जनप्रतिनिधि वादा तो करते है लेकिन उसको हकीकत के धरातल में उतारने में काफी समय लगता है। अब सवाल ये उठता है की क्या जनता की आवाज उनके जनप्रतिनिधि को चुनाव के बाद कब सुनाई पड़ती है ? ये देखने वाली बात होगी।
फ़िलहाल ऐसे में अगर कोई अनहोनी होती है तो इसका जिम्मेदार कौन होगा ?